बिहार : कोविड-19 महामारी ने कई लोगों का रोजगार छीन लिया। तो कई लोग अपने घर आने के लिए भटक रहे है। इस महामारी से बचने के लिए सरकार ने 14 अप्रैल तक के लिए लॉकडाउन पूरी शहर में लगा दिया है। ऐसे में सबसे ज्यादा दिक्कत दिहाड़ी मजदूरी पर काम करने वाले लोगों के साथ हो रही है। वहीं कई ऐसे रिक्शा चालक, ठेला चालक है, जिसके परिवार का गुजार उसकी रोज की कमाई से होती थी। ऐसे लोगों को लॉकडाउन होने से उसे मजदूरी नहीं मिल सकती है। ऐसे लोगों के मदद के लिए कई संगठन आगे आ रहे है। मानवाधिकार एवं सामाजिक न्याय जिला इकाई की ओर से राष्ट्रीय अध्यक्ष रोहित कुमार सिंह पिछले 3 दिनों से शहर में ऐसे लोग जो दिहाड़ी मजदूरी करते थे उनकी मदद कर रहे हैं।
मानवाधिकार एवं समाज न्याय के राष्ट्रीय अध्यक्ष रोहित कुमार सिंह ने एक अनोखी मुहिम का आगाज कर सोशल मीडिया को हथियार बनाकर व्हाट्सएप पर सहयोग नाम से ग्रुप बनाया। फिर उस ग्रुप में कई समाज के कई लोगों को जोड़ा गया। इनके द्वारा आसपास के लोग या ऐसे किसी लोग की जानकारी जिन्हें राशन की दिक्कत आ रही हो ग्रुप पर दी जा रही है। ऐसे लोगों की मदद की जा रही है।
पिछले 3 दिनों से करीब 100 लोगों को एक सप्ताह का राशन दिया गया। इसमें 5 किलो चावल, 5 किलो आलू, 1 किलो दाल, 1 किलो नमक, 1 किलो तेल, 5 साबुन हाथ धोने के लिए व कुछ आवश्यक सामान के साथ राहत पैकेट का वितरण किया जा रहा है। रविवार को कैदराबाद पुरानी बस स्टैंड में भागलपुर के करीब 15 मजदूर के फंसे होने पर विश्वविद्यालय थाना अध्यक्ष के साथ मिलकर रोहित कुमार सिंह ने उन लोगों के बीच राशन मुहैया कराया। रोहित कुमार सिंह ने कहा कि यह अभियान अंतिम दिनों तक चलता रहेगा। साथ ही उन्होंने लोगों से सोशल डिस्टेंसिग बनाकर रखने के लिए अपील की।
